मेरा नाम सुजाता है, मैं एक आदिवासी परिवार से हूं, इसलिए न तो गोरी चिट्टी हूं, न ही चेहरा बहुत सुन्दर है. पर क्योंकि मैं मेहनती हूं, इसलिए मेरा बदन भरा भरा और फिगर जबरदस्त है. मेरे स्तन के उभार किसी को भी ललचा देने के लिए काफी हैं.
मैं ज्यादा फैशन में विश्वास नहीं करती हूँ … ज्यादातर सिम्पल कपड़े ही पहनती हूं. मैं प्यार व्यार के चक्कर में कभी नहीं पड़ी, पर जब एक हैन्डसम से लड़के मुझे प्रपोज किया, तो मैं मना नहीं कर पाई.
मेरे घर से मुख्य शहर लगभग पच्चीस किलोमीटर दूर है. वहीं मैं पढ़ाई भी करती हूं और जॉब भी करती हूं. आने जाने के लिए बस से आना जाना होता है.
टाईम मिलता है तो बॉयफ्रेंड के साथ गुजारती हूं. हालांकि इतना टाईम कभी नहीं मिलता था कि कुछ ज्यादा कर पाएं … पर हम ज्यादातर किस विस कर लेते हैं. कभी कभी वो मेरी ब्रा के नीचे हाथ ले जाकर मेरे स्तनों को मसल लेता था.
घर वापस जाने के लिए मुझे काफी देर तक रोड के किनारे खड़े होकर इंतजार करना पड़ता है, तो हम दोनों खड़े होकर बातें करते रहते हैं.
ऐसे ही एक दिन मुझे घर जाने की जल्दी थी और कोई साधन नहीं मिल रहा था.
तो मेरे बॉयफ्रेंड ने कहा- क्यों न तुम लिफ्ट ले लो.
मैंने कहा भी- यार, मैं ऐसे कैसे किसी से लिफ्ट ले सकती हूं?
तो उसने मुझे सुझाव दिया- तुम किसी ट्रक में लिफ्ट ले लो.
मैंने गुस्से से कहा- पागल हो गए हो क्या. किसी भी टाईप की लड़की ट्रक में लिफ्ट नहीं लेती. फिर ट्रक वाला न जाने क्या कर जाए.
उस दिन तो बात आई गई हो गई, पर फिर अक्सर मेरा बॉयफ्रेंड इस टापिक को लेकर मुझे छेड़ने लगा. वो अक्सर मुझे बोल देता- ट्रक में लिफ्ट ले लो.
मैं मना करती, तो कहता कि तुम्हारे अन्दर हिम्मत नहीं है क्या … डरती हो आदि आदि.
एक दिन मेरे बॉयफ्रेंड को बहुत ज्यादा फुर्सत थी, तो उसने मुझे जल्दी बुला लिया.
मैं उसके पास जाने के लिए घर से निकल रही थी तो मेरी बहन ने मुझसे पूछा- कहां जा रही हो?
मेरी बहन से मेरी खुलकर बात होती है इसलिए मैंने उसे बताया कि मैं अपने बॉयफ्रेंड से मिलने जा रही हूं.
उसने मुझसे कहा- कभी तो संज संवर कर जाया करो.
मैंने उससे इस बात का मतलब पूछा तो उसने कहा- मतलब कुछ मॉडर्न से कपड़े पहन कर जाओ.
मैंने कहा- मुझे पसंद नहीं है.
उसने कहा- हर चीज अपने पसंद से नहीं करते, एक बार पहन कर तो देखो … तुम्हारे बॉयफ्रेंड के होश उड़ जाएंगे.
मैंने भी सोचा कि एक बार ट्राई किया जाए. मैंने हामी भरी तो उसने मेरे लिए एक ड्रेस निकाल दी.
ये ड्रेस एक बिना कंधों के टॉप और टाईट जींस थी.
मैंने कहा- ये बिना कंधों वाला टॉप है … तो ब्रा कैसे पहनूंगी?
बहन ने कहा- तो मत पहन न, तेरे बॉयफ्रेंड का हाथ अन्दर जाएगा, तो उसे भी मजा आ जाएगा.
मैंने सोचा- चलो ये भी कर लेते हैं. मैंने बिना ब्रा के टॉप पहन लिया. जब मैं जींस पहन रही थी, तो ख्याल आया कि पेन्टी भी नहीं पहनती हूं.
ये सोच कर मुझे पहले तो खुद पर हंसी आई … फिर मैंने बिना पेन्टी के जींस पहन ली. हल्का मेकअप किया और चल पड़ी.
रास्ते में जितने लोग मुझे देख रहे थे, सब पलट पलट कर घूर रहे थे. मैं बस स्टैण्ड गई और बस से सिटी पहुंच गई. जैसे ही मेरे बॉयफ्रेंड ने मुझे देखा, वो पागल हो गया. उसने मेरी बहुत तारीफ की.
वो मुझे इन कपड़ों में देख कर बहुत खुश था, पर उसकी खुशी ज्यादा देर नहीं रही. उसके घर में अचानक किसी की तबीयत खराब हो गई और उसे जाना पड़ गया.
हम दोनों बस स्टॉप पर खड़े होकर बस का इंतजार करने लगे. काफी देर तक बस नहीं आई तो मेरे बॉयफ्रेंड ने मुझे मजाक में कहा- ट्रक में लिफ्ट ले लें?
मैंने उसे गुस्से से देखा, तो उसने ताना मारने के अंदाज में कहा- आज इतनी हिम्मत दिखाई है, तो ये भी करके देख लो.
मुझे गुस्सा आ गया और मैंने भी ताव से कहा- तुमको क्या लगता है कि मैं ट्रक से लिफ्ट नहीं ले सकती?
उसने कहा- है हिम्मत … तो करके दिखा!
मैंने कहा- ठीक है … आज लेकर दिखाती हूं.
वो थोड़ा दूर खड़ा हो गया और मैं किसी ट्रक के आने का इन्तजार करने लगी. एक ट्रक निकला, पर मुझसे रोकने की हिम्मत नहीं हुई. वो दूर में खड़े होकर हंस रहा था. मुझे चिढ़ हो रही थी.
फिर एक और ट्रक गुजरा, तो फिर मेरी हिम्मत डोल गई. पर जैसे ही अगला ट्रक आया, मैंने हाथ दिखा दिया.
ट्रक बगल में आ कर रूक गया. बगल की खिड़की से दो लोग झांक रहे थे. दूसरी तरफ से ड्राईवर उतर कर नीचे आया.
उसने घूर कर देखा और मुझसे पूछा- क्या बात है?
मैंने अपने एरिया का नाम बता कर लिफ्ट मांगते हुए कहा कि क्या मुझे वहां तक छोड़ सकते हो.
ट्रक ड्राईवर ने मुझे ऊपर से नीचे तक देखा और जोश में बोला- छोड़ देंगे जी, चढ़ जाओ जी.
ट्रक का गेट खुला और दोनों लोग अन्दर सरक गए. मैं कभी ट्रक में चढ़ी नहीं थी, तो मुझे ऊपर चढ़ने में काफी दिक्कत आ रही थी. मैं खुद को ऊपर खींच नहीं पा रही थी. ट्रक ड्राईवर ने मेरे चूतड़ों पर एक हाथ लगाया और ऊपर ढकेल दिया.
मैंने अपने बॉयफ्रेंड की तरफ देखा, तो वो फोन पर बात कर रहा था. शायद वो इधर नहीं देख रहा था.
मैं अन्दर बैठ गई और दरवाजा बंद हो गया. ट्रक ड्राईवर ड्राईविंग सीट पर आ गया और ट्रक चल पड़ा.
दोनों लड़के जो खलासी थे, मुझे ललचाई नजरों से घूर रहे थे. मैं उतरना चाहती थी, पर बोलने की हिम्मत ही नहीं हो रही थी. उनकी नजरें भी ठीक नहीं लग रही थीं.
थोड़ी दूर जाने के बाद ट्रक ने बाई पास रूट पकड़ लिया.
मैंने धीरे से पूछा- इधर किधर?
ट्रक ड्राईवर बोला- बहन जी, मेन रूट से हमें परमिशन नहीं है, इसलिए बाई पास से जाना पड़ता है.
उसने बहन जी बोला तो मुझे थोड़ा चैन आया. मैं चुपचाप बैठ गई.
ट्रक जब सुनसान एरिया में आ गया, तो अचानक एक खलासी ने पूछा- तेरा रेट क्या है?
मैंने हड़बड़ा कर पूछा- मतलब?
उसने कहा- मुझे पता है, तुम धंधे वाली हो. इसलिए तेरा रेट पूछ रहा हूं.
मैंने और ज्यादा हड़बड़ा कर कहा- मैं धंधे वाली नहीं हूं.
ट्रक ड्राईवर ने कहा- हमें पता है कि तू धंधे वाली है … क्योंकि कोई आम लड़की ट्रक में लिफ्ट नहीं लेगी. मैंने बहुत जगह देखा है, ऐसे ही धंधे वाली ट्रक में लिफ्ट लेती हैं. पहनावे से भी तू धंधे वाली लग रही है … या तुझे अपने जिस्म की नुमाईश करने का शौक है शायद.
मैंने हकलाते हुए कहा- आप ऐसा इतने विश्वास से कैसे कह सकते हैं?
ट्रक ड्राईवर ने कहा- मेरे पास ये साबित करने का एक तरीका है. ज्यादातर धंधे वालीं जब इस टाईप से लिफ्ट लेती हैं तो वे अन्दर कुछ नहीं पहनती हैं. मेरा मतलब ब्रा पेन्टी नहीं पहनती हैं. अपने कपड़े खोल कर दिखा दे कि ब्रा पेन्टी पहनी है, मैं तेरी बात मान लूंगा.
उसकी बात सुनकर मुझे तो काटो तो खून नहीं, जैसी हालत हो गई थी. मुझसे कुछ बोलते ही नहीं बन रहा था.
ट्रक ड्राईवर ने कहा- अब खोल कर दिखा न.
मैंने हकलाते हुए कहा- पर अभी तो आप मुझे बहन जी कह रहे थे?
ट्रक ड्राईवर ने कहा- तो क्या हुआ, इससे तेरा रेट बदल जाता है क्या? चल खोल न … कुछ ज्यादा ले लेना.
इतना कहते ही एक खलासी मेरे बाएं बगल आ कर बैठ गया. एक खलासी मेरे दाएं बगल पहले से बैठा हुआ था. हम तीनों ट्रक की पिछली सीट पर बैठे थे. ड्राईवर अगली सीट के कोने पर था.
मैंने मिमियाते हुए कहा- मैं धंधे वाली नहीं हूं.
ट्रक ड्राईवर ने मुझे घूरा और अपने एक खलासी से बोला- छोटू … देख तो लौंडिया सच बोल रही है या झूठ?
खलासी ने कहा- पर गुरू कैसे चैक करूं? ड्राईवर ने उसे डपटते हुए कहा- साले ऊपर का कपड़ा उठा कर देख न कि इसने ब्रा पहनी है कि नहीं?
एक खलासी ने कहा- उठाना नहीं पड़ेगा गुरू … पीछे से चैन लगी है.
उसने एक झटके से चैन को नीचे खींच दिया. मेरा टॉप पीछे से खुल गया और मैंने दोनों हाथ से सामने से टॉप पकड़ लिया कि कहीं गिर न जाए. दोनों खलासी ने मेरा एक एक हाथ पकड़ कर खींचा और मेरा टॉप नीचे गिर गया.
मैंने ब्रा तो पहनी ही नहीं थी, तो एक खलासी चिल्लाया- गुरू … इसने ब्रा नहीं पहनी है.
ड्राईवर चिल्लाया- साली अभी तक नौटंकी चोद रही थी … है धंधे वाली और शरीफ बन रही है. चल हर एक के हिसाब से साढ़े तीन ले लेना, कुल मिला कर तीनों का एक हजार रूपए दे देंगे.
सम्भोग मेरे लिए नया नहीं था. कमसिन उम्र में जीजा जी दीदी को लेने आये थे. उस वक्त मैं बाथरूम में नहा रही थी, तो वे दीदी समझ कर घुस गए. मेरा बदन देख कर बहक गए और मुझे बहला फुसला कर और थोड़ा जबरदस्ती करके उन्होंने मेरा कौमार्य भंग कर दिया था. वो मेरा पहला पुरूष संसर्ग था.
इसके बाद एक हफ्ते के लिए मेरे घर वाले बाहर गए थे, मैं किसी कारणवश नहीं जा पाई, तो मेरे साथ रहने के लिए मेरे मामा के लड़के को छोड़ कर गए थे. मेरा मामा का लड़का मेरी हम उम्र था. रात में उसने मौके का फायदे उठाया और मेरे साथ संसर्ग कर लिया.
एक हफ्ते तक वो मेरे साथ रहा और उसने लगभग चौदह बार मेरे बदन का सुख लिया. इसलिए संसर्ग मेरे लिए नया नहीं था, पर यहां तो साले मुझे एक रंडी समझ रहे थे.
ड्राईवर फिर चिल्लाया- साली का पैंट भी उतार … देख तो पेन्टी पहनी है या नहीं?
दोनों खलासी मेरा हाथ पकड़े थे, उनमें से एक ने मेरी जींस का बटन खोल दिया और चैन को खींच दिया. बेल्ट पहनने की तो आदत शुरू से नहीं रही थी. उसका नुकसान ये आज हुआ कि इतने आसानी से वो मेरी जींस उतारने में कामयाब हो गया.
जैसे ही जींस की कमर ढीली हुई, वो एक झटके से जींस नीचे खिसकाने लगा. नीचे पैंटी न देख कर उन सबको मस्ती आ गई और आखिर में जींस तलवे तक पहुंच गई.
उस लड़के ने जींस को मेरी सैंडल के साथ मेरे बदन से अलग कर दिया. उसने सारे कपड़े उठा कर पिछली सीट के कोने में फेंक दिए. दोनों ने मेरे हाथ छोड़ दिए और मैंने अपने स्तनों को दोनों हाथ से छुपा लिया.
यूं तो मेरी चुत भी नग्न था, पर क्योंकि मैं बैठी हुई थी और मेरी जांघें आस पास थीं … तो मेरी चुत काफी हद तक छुपी हुई थी.
एक खलासी ने कहा- गुरू … देखा नीचे पेन्टी भी नहीं है.
ड्राईवर ने कहा- हां देखा … ये साली बोल रही थी कि धंधे वाली नहीं है.
फिर थोड़ा रूक कर ड्राईवर ने कहा- तुम लोग मजे लेना चालू करो, फिर मैं आता हूं.
दोनों खलासियों ने मेरे दोनों हाथों को खींच कर अलग किया, मैंने ताकत लगाई, तो एक बोला- पैसे पूरे दे रहे हैं, मजा भी पूरा लेंगे. साली अब नौटंकी मत कर.
मैंने हाथ ढीला छोड़ दिया. ये तो तय था कि मैं चाहे जितना भी समझाती, पर ये लोग मानते नहीं कि मैं धंधे वाली नहीं हूं … और अगर मान भी लेते, तो मुझे ये जान कर भी मुझे छोड़ते भी नहीं … और छोड़ने वाली हालत भी नहीं थी.
मैंने भी अपनी चुदाई का पूरा मजा लेने का मन बना लिया.
दोनों खलासियों ने मेरे एक एक स्तन को एक एक हाथ से पकड़ लिया और जोर जोर से मसलने लगे. ऐसा लग रहा था कि किसी लड़की का नहीं, साले किसी गाय के थन दुहने की कोशिश कर रहे थे.
दोनों ने अब तक मेरी जांघें भी फैला दी थीं और मेरी चुत पर उंगली फिराने लगे. दोनों ने मेरे गले और गाल को चूमना भी शुरू कर दिया. अचानक दोनों ने मेरे दोनों स्तनों के निप्पलों को अपने अपने मुँह में लिया और कसके चूसने लगे.
उन्हें ऐसा लग रहा था कि उनमें सच में दूध भरा हुआ है और वो लोग सच में दूध पी रहे हैं.
वो लोग दस मिनट तक ऐसे ही हरकतें करते रहे और बीच बीच में उंगली मेरी गांड के छेद में घुसाने की कोशिश करते. दस मिनट के बाद ड्राईवर ने गाड़ी रोक दी.
दोनों पलटे तो ड्राईवर ने कहा- अबे अब क्या पूरी मलाई उतार लोगे तुम दोनों, साले तुम लोगों के पैसे भी मुझे ही देने हैं … आगे आ साले … आकर गाड़ी चला.
एक खलासी उठ कर ड्राईवर की सीट पर चला गया और ड्राईवर पिछली सीट पर आ गया. ट्रक फिर चलने लगा.
ड्राईवर ने सीट पर बैठ कर मुझे अपनी गोद में खींच लिया. मैं उसकी गोद में इस तरह बैठी थी कि मेरी पीठ ड्राईवर की छाती से सटी हुई थी. ड्राईवर ने मेरी दोनों बगलों के बीच से अपने दोनों हाथ आगे लाए और मेरे दोनों स्तनों को अपने हाथों में भर लिया.
एक खलासी अभी भी बगल में बैठा हुआ था.
ड्राईवर चिल्लाया- अबे, तू क्या चोदना सीखने के लिए बैठा है, मादरचोद सामने जा … मैं पहले इसको भसका लूं फिर दोनों निपट लेना.
वो हड़बड़ाते हुए आगे की सीट पर चला गया. ड्राईवर ने मेरे दोनों स्तनों को कस कसके मसलना शुरू किया. वो इतने कसके मसल रहा था कि मेरी कराह फूट रही थी.
ड्राईवर ने धीरे से मेरे कान में कहा- तेरी चूचियां तो बहुत मस्त हैं, लगता है नई नई धंधे में आई है … चुत भी टाईट होगी. साढ़े तीन सौ में सस्ती पड़ी. चल अब तेरे को चख लेता हूं.
अब मेरी चुत में ड्राईवर साब लंड डाल कर मुझे चोदेंगे … आगे की घटना मैं अपनी सेक्स कहानी के दूसरे भाग में लिखूंगी.
आपके मेल का इन्तजार रहेगा.
मुझसे चुत मिलने की उम्मीद न पालें.
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कहानी का अगला भाग: देसी लड़की ने चलते ट्रक में चुत चुदवाई-2