लॉकडाउन में मिला शानदार चुदाई का मजा- 4

लॉकडाउन में मिला शानदार चुदाई का मजा- 4

यह कहानी भाई बहन के सेक्सी गेम की है जो दोनों ने अपने पड़ोसी जोड़े के साथ मिलकर खेला. मेरे भाई को मेरी चैट से पता चल गया था कि मैं पड़ोसी से सेक्स करती हूँ.

यह कहानी सुनें.

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दोस्तो, कैसे हो?
मैं आपकी दोस्त अंजलि फिर से एक बार अपनी अधूरी कहानी का अगला हिस्सा लेकर।
लड़को, अपना कच्छा उतार दो और लड़कियो, अपनी पैन्टी भी वर्ना तुम्हारे पानी से वो गीले हो जाएंगे।

कहानी के पिछले भाग
पड़ोसी कपल ने मेरी चूत में डिल्डो घुसा दिया
में मैंने आप लोगों को बताया था कि किस तरह निधि ने मेरे हाथ पैर बांध कर मेरे साथ सेक्स करवाया था।
मुझे अब निधि और तपिश से बदला लेना था।
पर मुझे नहीं पता था कैसे।

अब आगे भाई बहन के सेक्सी गेम:

मैं घर पहुंची तो दरवाजा यश (मेरा छोटा भाई) ने खोला।
वो मेरे पीछे पीछे मेरे कमरे में आया और बोला- दीदी, मुझे पता है कि तुम निधि के घर में कौन सा खेल खेलने जाती हो।
मैं हंसी और उससे पूछा- कौन सा खेल?
उसने कहा- दीदी मैंने तुम्हारी चैट रीड की है। मैं मम्मी को बताने वाला हूं।

तब मुझे समझ आया कि इसे सब पता है।

मैंने उसे कहा- तू चुप रह और बता कि तुझे क्या चाहिये।
तब उसने बोला- मुझे भी इस खेल को खेलना है।
मैंने कहा- तेरा दिमाग खराब है? निधि और तपिश नहीं मानेंगे और जब हम दोनों एक दूसरे के सामने नंगे रहेंगे तो वो क्या सोचेंगे।
तब उसने कहा- दीदी वो सब तुम जानो। तुम उन्हें मनाना और वो कौन सा दूध के धुले हैं।

मैंने कुछ सोचा और उससे कहा- ठीक है, मैं उन दोनों को मना लूंगी पर तुम्हें मेरी हेल्प करनी होगी।
उसने पूछा- क्या हेल्प?
मैंने कहा- मुझे उनसे कुछ बदला लेना है।
उसने कहा- ठीक है।

तब मैंने दिमाग में एक प्लान बनाया और उसे बताया.
तो वो हंसने लगा और उसने कहा- इसमें तो मुझे बहुत मज़ा आयेगा।

उस रात और अगले दिन मैंने निधि और तपिश से ग्रुप चैट हर रोज की तरह बात करी।
मंगलवार रात को मैंने उनसे कहा- यार, अब मैं आगे तुम्हारे घर नहीं आ पाऊँगी।
दोनों ने पूछा- क्यों क्या हुआ?
मैंने कहा- यार, यश ने हमारी सारी चैट रीड कर ली है और मुझे कह रहा है कि वो मम्मी को बता देगा. अगर मम्मी को पता चल गया तो वो बहुत गुस्सा करेंगी और मुझे आगे से तुमसे मिलने नहीं देंगी।

तपिश ने कहा- उसे कुछ लालच दे दो और कहो किसी को ना बताये।
मैंने उन्हें कहा- मैंने यश को कहा था पर उसने मुझसे जो मांगा वो मैं नहीं दे सकती, पर तुम लोग दे सकते हो।
निधि ने कहा- ऐसा क्या है जो हम दे सकते हैं?

मैंने कहा- वो भी मेरे साथ तुम्हारे यहां आना चाहता है।
तपिश हंसने लगा और बोला- तेरे भाई को तुझे नंगा देखने की बड़ी चूल है।
मैं बोली- यार, मुझे तो वो कई बार नंगी देख चुका है पर फिर भी उसे आना है।

तपिश ने पूछा- उसकी उम्र क्या है?
मैंने कहा- वो 19 साल का है।
तब तपिश ने कहा- ठीक है उसे भी ले आना।
मुझे लगा मेरा पहला दांव तो ठीक लगा है।

पर शुक्रवार को एक पंगा हो गया; मेरे पीरियड शुरु हो गए।
मैंने निधि को फोन किया और कहा- निधि मैं कल और परसों नहीं आ पाऊँगी।
उसने पूछा- क्यों यश ने मम्मी को बोल दिया क्या?

मैंने कहा- नहीं यार, मेरे पीरियड शुरु हो गये हैं।
उसने कहा- बस इतनी सी बात … यार एक छेद छोड़ दियो पर दूसरा तो है।
मैं समझ गई।

मैंने उससे पूछा- तूने लिया है दूसरे छेद में?
तो उसने कहा- हां यार, एक दो बार तपिश का लिया है। थोड़ा दर्द हुआ पर फिर मजा आया।

मैंने कहा- यार इस बार तपिश को कुछ और मजा देते हैं!
तो उसने कहा- वो कैसे?
मैंने उसे कहा- हम तपिश के हाथ पैर कफ्फ करेंगे और उसका लंड चूस चूस कर खड़ा कर देंगे। फिर उसके खड़े हुए लंड को अपनी चूत और गांड में डाल कर उसका पानी निकालेंगे। उसको बिना मेहनत के ही स्वर्ग घुमा लाएंगे।
निधि ने खुशी खुशी कहा- हां यार, बड़ा मजा आयेगा।

अब मैं आप लोगों को यश के बारे में बता देती हूं।
यश 19 साल का बी ए प्रथम वर्ष में पढ़ने वाला स्टूडेंट है। उसे सेक्स करना मैंने ही सिखाया था।
कैसे सिखाया था वो आप लोग मेरी पिछली कहानियों में पढ़ सकते हो।

मैंने यश को पहले ही बता दिया था कि निधि के यहां पर कोई कपड़े नहीं पहनता है।
तो उसने कहा- अच्छा है, मुझे तो बहुत मजा आयेगा।

अगले दिन शनिवार को सुबह ही मैंने मम्मी को बोल दिया- आज मैं और यश निधि के यहां लंच करेंगे तो हम दोनों के लिये लंच मत बनाना।
मम्मी ने ओके कहा और कहा- चलो अच्छा है … यश की भी उनसे दोस्ती हो जाएगी।

दोपहर में एक बजे हम दोनों निधि के यहां गए।
मैंने लाल रंग की शर्ट पहनी थी और नीचे एक काली स्कर्ट पहनी थी। ब्रा तो नहीं पहनी थी पर पीरियड की वजह से पैन्टी पहनी थी और उसमें सेनेटरी पेड लगाया था।

उधर यश ने एक बरमुडा पहनी थी और ऊपर एक लूज टी शर्ट पहनी थी।
अंदर शायद उसने कुछ नहीं पहना था।

हमने पहुंचकर बेल बजायी और तब हर बार की तरह निधि ने दरवाजा खोला और अंदर चली गई।
मैंने देखा कि हर बार की तरह आज भी वो पूरी नंगी थी।

मैं और यश अंदर गये और मैंने दरवाजा बंद कर दिया।
फिर मैंने शर्ट और स्कर्ट उतार दी और यश को भी इशारा किया तो उसने भी अपनी टी शर्ट और बरमुडा उतार दी।
अब वो भी पूरा नंगा था।

उसने पूछा- दीदी तुमने पैन्टी क्यों नहीं उतारी?
मैंने कहा- अबे मेरे पीरियड चल रहें हैं।

तब उसने कहा- दीदी तेरे निप्पल बहुत मोटे हो गये हैं, लगता बहुत चुसवाती हो?
मैंने कहा- हां यार, मेरे चूचे सबको बहुत पसंद हैं तो सब इन्हें चूसते और काटते रहते हैं।

मैं बोली- तेरा लंड भी काफी बड़ा हो गया है। तू किस से चुसवाता है?
उसने कहा- दीदी तुझे पता है ना मेरी गर्लफ्रेंड नेहा जो हमारे ब्लॉक में ही रहती है और मेरी क्लासमेट भी है उस से! जब से लॉक डाउन हुआ है तब से मिले भी नहीं। ना वो मुझे बुला सकती अपने घर और ना मैं बुला सकता।

मैंने कहा- यहां बुला ले निधि के घर।
तब उसने कहा- पर दीदी निधि और तपिश मानेंगे?
मैंने कहा- उन्हें मैं मना लूंगी … पर एक शर्त है तपिश भी उसे चोदेगा।

उसने कहा- दीदी वो नहीं मानेगी।
मैंने उसे कहा- अगर नहीं मानेगी तो उसे ट्रिक कर देना।

फिर हम दोनों अंदर किचन में चले गये।
आज तपिश और निधि दोनों किचन में थे।

तपिश ने हम दोनों को नंगे देखा तो वो मुस्कराया और बोला- क्या अंजलि, आज तो तूने रूल तोड़ दिया।
तभी निधि बोली- यार आज अंजलि को सब माफ़ है, इसके पीरियड चल रहे हैं।

तपिश ने यश को देखा और उससे कहा- यार, तू तो जवान हो गया है और तेरा लोड़ा भी अच्छा है।
उससे तपिश ने पूछा- अपनी दीदी को कितनी बार चोदा है?
यश ने कहा- दस एक बार!

तपिश ने कहा- ठीक बहनचोद, क्या इतनी हॉट माल को सिर्फ एक बार?
हम सब हंस पड़े।

तपिश ने यश से पूछा कोई गर्ल फ्रेंड है या गेला है?
यश ने गर्व से बोला- हां है और इसी ब्लॉक में रहती है।

तपिश ने पूछा- तूने उसके साथ कुछ किया भी है या सूखा सूखा है।
मेरा भाई बोला- सब कुछ किया है.

तपिश बोला- अच्छा तो कभी हमसे भी मिला!
यश ने घमंड से कहा- ठीक है तो कल ही लाता हूं उसे!
तपिश ने कहा- देख तू अगर उसे यहां लाएगा तो उसे नंगी रहना पड़ेगा।

तब मुझे लगा यश गधा है। मैंने सब संभालते हुए कहा- यार वो अभी छोटी है और वो ऐसे कैसे मान जायेगी?
यश बोला- दीदी, मैं उसे ले आऊंगा. आप लोग अंदर रहना और तब मैं उसे ट्रिक करके उसकी आंख पर पट्टी बाँध दूँगा और फिर आप लोग आकर सब कुछ करना।
मैंने उसे कहा- अबे गधे अगर उसने शिकायत कर दी तो सबको जेल हो जाएगी। हमें कुछ ऐसा करना पड़ेगा कि वो खुशी खुशी सब करने को राजी हो जाये।

तपिश ने भी मेरी हां में हां मिलाई।
मैंने तपिश को कहा- कल के लिये थोड़ा रूल चेंज करते हैं। कल हम सब कपड़ों में रहेंगे। अगर तपिश तुम राजी हो तो बाकी सब मैं सम्भाल लूंगी।
तपिश ने ओके कहा।

मैंने यश को कहा- तुम कल नेहा को लंच के बाद बुलाओ।
तब तक बातों बातों में हमने मेज पर खाना लगा दिया था।

हम लोग बैठकर खाना खाने लगे।
बीच में तपिश ने यश को बोला- तुम दूध तो नहीं पीते हो?
यश ने कहा- हां मैं पीता हूं।
तपिश ने कहा- मुझे क्या पता … तुम्हारे सामने दो दो दूध की डेरी हैं और तुमने अब तक दूध नहीं पिया।
उसका इशारा मेरे और निधि के नंगे दूध की तरफ था।

यश भी समझ गया। यश उठकर मेरे पास आया और कहा- दीदी दूध पीना है।
मैंने कुछ नहीं कहा तो वो नीचे घुटने पर बैठ गया और मेरा एक दूध अपनी और खींचकर मुंह में ले लिया और उसे चूसने लगा।

दूसरे हाथ से मेरा दूसरा दूध दबाने लगा।
मैंने भी चेयर पीछे करके उसे थोड़ी जगह दे दी।

वो कभी मेरा एक निप्पल चूसता कभी दूसरा चूसता।
मेरे नीचे लीक होना शुरु हो गया था।

तब मैंने कहा- एक डेरी का दूध खत्म हो गया। अब दूसरी से पी ले और अच्छी तरह पीयो ताकि तपिश को भी पता चले कि उसकी वाली डेरी में भी खूब दूध है. वर्ना वो इसी डेरी के पीछे लगा रहता है।

ऐसा सुनकर तपिश और निधि हंसने लगे।
यश उठकर निधि के पास गया और कहा- दीदी दूध पिलाओ ना!
निधि ने गुस्से से कहा- मुझे दीदी मत बोल! मुझे सिर्फ निधि बोल!

यश ने भी मजे लेते हुए कहा- निधि, तेरी चूची छोटी है, चल मैं इनका दूध चूस कर इन्हें बड़ा कर दूँ।
मैं हैरान रह गई।

यश ने निधि की चूचे पकड़ लिये और अपनी तरफ खींचे।
निधि को दर्द हुआ और वो बोली- उई मां।

तब यश नीचे बैठकर उसकी चूची को मुंह में लेकर कभी चूसता और कभी उसके निप्पल काटता।
निधि के मुंह से उह आह की आवाजें आने लग गई थी।

मैंने यश को इशारा किया और यश ने निधि की चूत पकड़ ली और बोला- क्या निधि, तू तो अभी से चू रही है.
और उसने जोर से निधि के दूध पर काट लिया।

निधि की चूची पूरी लाल हो गई और उस पर यश के दांतों के निशान बन गए।
मैंने यश को कहा- चल दूध बहुत हो गया, अब खाना खा ले।

तब यश ने निधि को छोड़ा और खाना खाया।
खाने के बाद हम सब ने मिलकर टेबल साफ़ की।

तब मैंने तपिश को कहा- यार आज बेडरूम में चलते हैं।
तपिश ने कहा- लगता है बेडरूम पसंद आ गया! ठीक है चलते हैं।

मैंने निधि को आंख मार दी।
निधि को लगा हमने जो प्लान किया है वैसे ही होगा पर मेरे दिमाग में तो कुछ और था। मुझे बदला जो लेना था।

हम लोग बेडरूम में आ गये।
आज विंडो पर पर्दे थे तो आज रूम में अंधेरा था।
तपिश ने लाइट चालू की।

मैं तपिश को किस करने लगी और यश निधि को!
धीरे-धीरे मैं तपिश को बेड पर ले गई और उसे सीधा लिटा दिया और उसपर बैठ गई।

तब मैंने उसके हाथ सिर के ऊपर करे और झुककर अपना एक निप्पल उसके मुंह में दे दिया।
तपिश को बहुत मज़ा आ रहा था और वो मेरे निप्पल चूसने लगा।

तब निधि ने अलमारी खोली और उसमें से दो हैंड कफ्फ निकाले और तपिश के सिर की तरफ आकर एक हैंड कफ्फ तपिश को लगाया और साईड पोल पर लगा दिया।
जब तक तपिश कुछ समझता निधि ने दूसरे हाथ को भी पोल से बांध दिया।

मैंने जान बूझकर तपिश के मुंह में अपना चूचा ठूंस दिया ताकि उसे कुछ समझ ना आये।
फिर मैंने अपना चूचा उसके मुँह से निकाला और खड़ी हो गई।

मैं उसके पैरों के पास आई, पैरों के बीच में बैठकर उसका लोड़ा मुंह में ले लिया और चूसने लगी।
तपिश ने आँखें बंद कर ली और एंजॉय करने लगा।

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भाई बहन के सेक्सी गेम का अगला भाग: लॉकडाउन में मिला शानदार चुदाई का मजा- 5

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